कहां विकास कहां विनाश बंटाधार ग्राम पंचायतो का विकास

By अजिमुल्ला खान

Published On:

Join WhatsApp

Join Now

Join Telegram

Join Now

नीमच जिले के अंतर्गत आने वाली मनासा तहसील की जनपद के भीतर लगभग 100 ग्राम पंचायत से भी ज्यादा ग्राम पंचायतें हैं पर क्या किसी ने आज तक इस और ध्यान केंद्रित किया है।कि वास्तविक ग्राम पंचायत में जो विकास होना चाहिए क्या वह विकास हो रहा है या नहीं क्या इसका जिला जनपद सीईओ द्वारा किसी भी पंचायत का आज तक सत्यापन करवाया, ,नहीं???। क्योंकि सत्यापन अगर होता है तो सभी पंचायत में वास्तविक विकास और आम जनता तक पहुंचने वाली सर्व सुविधा मिलती पर ऐसा नहीं??? यहां ग्राम पंचायतो में ठीक इसके विपरीत देखने को मिल रहा है। अगर कोई शिकायत करता है तो सरपंच सचिव लड़ने तक उतारू हो रहे हैं। कागजों में भरपूर हो रहा विकास नरेगा के भीतर भी देखा जाए तो बरसों पुरानी तालाबों को कन्वर्ट कर नए तालाबों का स्वरूप दिया जा रहा है और खजाना खाली किया जा रहा। कई नलकूपों को तो रिपेयरिंग कर नया नाम देकर उसकी राशि हड़प की जा रही है।। ग्रामीण क्षेत्र की ग्राम पंचायत में प्रधानमंत्री आवास के कई घोटाले हैं। सरपंच सचिव और सरपंच प्रतिनिधियों ने आवास घोटाले में कई वाहवाही लूटी है।।कहीं पर मकान बन गए हैं।। तो कई ग्राम पंचायत में आज तक प्रधानमंत्री आवास नहीं बने हैं और राशि निकाल ली गई है। या यूं कहे की भ्रष्टाचार चरम सीमा पर चल रहा है और यह भ्रष्टाचार ऐसे ही नहीं हो रहा यह गांव के चौपाल से लेकर भोपाल तक के बीच में जो कड़ियां आती हैं उन कड़ियों की मिली भगत से यह सब संभव हो रहा है।जब गांव का रुख करते हैं तो ग्राम पंचायत में सिर्फ भ्रष्टाचार और विनाश के सिवाय कुछ नहीं दिखाई दे रहा।सरपंचों ने सिर्फ एक दाव खेल रखा है लाखों रुपए खर्च करो और 5 सालों से पंचायत को लूटो।यह पेत्रा आजमा कर ग्राम पंचायत को खोखला कर रहे हैं सरपंच सचिव ।।और भोले भाले जनता को मिलने वाली मूलभूत सुविधाओं से वंचित कर रहे हैं।कई ग्रामीण क्षेत्रों में आज भी कीचड़, सीसी रोड,, पानी की व्यवस्था ,, प्रधानमंत्री आवास,, सार्वजनिक शौचालय,,, श्मशान में बैठने उठने की व्यवस्था तक नहीं है।। घोटाला में नंबर वन बनीं रामपुरा तहसील की ग्राम पंचायत तालाब के नाम पर वह आवास के नाम पर,, पौधारोपण के नाम पर नरेगा के नाम पर ऐसी कई अन्य सुविधाएं हैं जिनके नाम पर भारी घोटाला कर रही ग्राम पंचायते ।।यहां तक की मजबूरन गांव में जो विकास करवाते हैं उनमें भी घटिया किस्म का विकास करवा कर उसको नंबर वन दिखाया जा रहा है ।। और सर्व सुविधाओं का लुफ्त उठा रहे हैं सरपंच सचिव अपनी जेबें कर रहे हैं भारी।। क्या चौपाल से भोपाल के बीच बसने वाली यह कड़ियां सरपंच सचिवों की साठ घाट से भ्रष्टाचार करवा रहे हैं। या फिर अनदेखा कर रहे हैं।।भ्रष्टाचार में नंबर आता है इंजीनियरों यही से शुरुवात होती हैं भ्रष्टाचार की जो अपने मन माफिक हिस्सा लेकर नौ दो ग्यारह हो जाते हैं और सरपंच सचिव उसके बाद पंचायत को लूटते हैं।अगर सही से जांच और पड़ताल की जाए ग्राम पंचायत के विकास की तो कई करोडो का घोटाला सामने होगा। सूत्र बताते हैं कि इन सब घोटालों में जनपद के भीतर बैठे कर्मचारी तक का हिस्सा होता है।। क्या खबर के बाद उज्जैन आयुक्त इस और अपना ध्यान केंद्रित करेंगे क्या जिला जनपद सीईओ अमन शर्मा कोई एक्शन लेंगे। क्या आदेश करेंगे कि ग्राम पंचायतो में पिछले ढाई साल में हुए विकास का सत्यापन होना चाहिए। और जिन कर्मचारियों से सत्यापन करवाते है। उन कर्मचारियों पर भ्रष्टाचार के दाग नहीं होना चाहिए। तब जाकर दूध का दूध और पानी का पानी सबके सामने होगा।भोली भाली जनता को लूट रहे सरपंच सचिव और प्रतिनिधि जब कोई अपना मुंह खोलने की बारी आती है तो उनको 100, 200, 500, देकर उनका मुंह दबा दिया जाता है। रामपुरा तहसील के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत का वास्तविक सत्यापन होना चाहिए।। क्योंकि लगभग सभी ग्राम पंचायत में विकास के नाम पर सिर्फ बंटाधार ही बंटाधार दिखाई दे रहा और जहां विकास हो रहा वह सिर्फ नाम मात्र और घटिया विकास हो रहा है। ग्राम पंचायत में विकास के नाम पर लाखों की सौगात को पलीता लगती ग्राम पचायते।। 13 लाख के आसपास बने वाले डोम 37 लाख के आसपास बनने वाली नए ग्राम पंचायत बिल्डिंग भवन पूरी तरह घटिया किस्म का देखा जा सकता है।पंचायत में सरपंचों के पास ऐसा कौन सा जादू है जब चुनाव लड़ने आते हैं तो मात्र एक टूटी फूटी पुरानी मोटरसाइकिल से और जब 5 साल की बीत जाने के बाद दोबारा उनकी ओर नजर डालते हैं। ऐसा कौन सा जादू कर लेते हैं यह सरपंची जो तीन मंजिला मकान घर के बाहर स्कॉर्पियो वह एक जेसीबी और दो-तीन ट्रैक्टर न जाने कहां से आ जाते हैं।। पूरे जिले की ग्राम पंचायत का सत्यापन होना चाहिए और भ्रष्टाचारियों को सबक सीखना होगा तब जाकर ग्राम पंचायत का विकास होगा।। माननीय जिला कलेक्टर जिला जनपद सीईओ उज्जैन आयुक्त को इस और अपना ध्यान केंद्रित कर ग्राम पंचायतो का वास्तविक सत्यापन करवाना चाहिए,,,

ब्यूरो रिपोर्ट,,,, दशरथ माली चचोर

Related Posts

Leave a Comment

Home Home E-Paper E-Paper Facebook News Facebook YouTube YouTube